एजेंसी. पूरी दुनिया कोरोना यानी कोविड-19 के संक्रमण से परेशान है। ऐसे में भारत के पाए ही वह दवा है जो फिलहाल इसके इलाज में कारगर साबित हो रही। जी हां, हम एंटी मलेरिया दवा हाइड्रोक्सीक्लोरोक्वीन (HCQ) की ही बात कर रहे हैं, जिसे लेकर अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने तो धमकी तक दे डाली थी। बाद में केंद्र सरकार द्वारा दवा सप्लाई किए जाने का फैसला लेते ही उन्होंने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को धन्यवाद दिया।
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ट्रंप के बाद अब इजरायल के प्रधानमंत्री बेंजामिन नेतन्याहू ने भी पीएम मोदी का शुक्रिया अदा किया है। नेतन्याहू ने अपने आधिकारिक ट्वीटर हैंडल से ट्वीट करते हुए कहा, धन्यवाद मेरे प्रिय दोस्त भारत के प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी, इजरायल को हाइड्रोक्सीक्लोरोक्वीन (HCQ) भेजने के लिए। हाइड्रोक्सीक्लोरोक्वीन के निर्यात पर रोक के बाद विभिन्न देशों की तरफ से भारत को इसके कई लिए बार अनुरोध किया गया था, जिसके बाद भारत ने इसके निर्यात के ऊपर लगी रोक को हटाने का फैसला किया। 25 मार्च को भारत ने हाइड्रोक्सीक्लोरोक्वीन के निर्यात पर रोक लगाई थी। समाचर एजेंसी आईएएनएस के मुताबिक, इसके बाद 6 अप्रैल को डायरेक्ट्रेट जनरल ऑफ फॉरेन ट्रेड (डीजीएफटी) ने हाइड्रोक्सीक्लोरोक्वीन समेत 14 दवाईयों के निर्यात पर लगी रोक को हटाने का नोटिफिकेशन जारी किया।
Thank you, my dear friend, Narendra Modi for sending Hydroxychloroquine to Israel: Benjamin Netanyahu, Prime Minister of Israel #COVID19 (File pic) pic.twitter.com/XN7V1tVO8z
— ANI (@ANI) April 9, 2020
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आपको बता दें कि कोरोना संक्रमितों के इलाज में हाइड्रोक्सीक्लोरोक्वीन की काफी मांग है। जानकार कह रहे हैं कि भारत घरेलू मांगों की पूर्ति के साथ आसानी से इस दवा का निर्यात कर सकता है। हालांकि अभी तक बड़े स्तर पर ट्रायल में यह साबित नहीं हुआ है कि कोरोना मरीजों के इलाज में यह दवा कितनी मददगार है।
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इधर भारतीय चिकित्सा अनुसंधान परिषद (आईसीएमआर) ने कहा कि कोरोना के इलाज के लिए मलेरिया रोधी दवा (हाइड्रोक्सीक्लोरोक्वीन) की सिफारिश नहीं की है, जब तक की टेस्ट के दौरान संतोषजनक नतीजे नहीं दिखते हैं। आईसीएमआर के वैज्ञानिक आर. गंगा केतकर ने कहा, "यह समझने की जरूरत है कि हाइड्रोक्सीक्लोरोक्वीन दवा कोरोना मरीजों के लिए जरूरी नहीं है। क्या यह दवा कोविड-19 के संक्रमण को कम करेगा, परीक्षण के बाद ही इसका पता चलेगा। जिनमें कोरोना के लक्षण पाए गए हैं, उनके ऊपर इसका परीक्षण चल रहा है। जब तक हमें संतुष्ट करने लायक नतीजे नहीं मिल जाते, हम किसी को भी यह दवा लेने के लिए नहीं कहेंगे।’
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